अब आई कांग्रेस और भाजपा को ब्राम्हणों की सुध, दोनों दलों ने बनाए ब्राम्हण अध्यक्ष

0  शुक्ला और पाण्डेय को दी अध्यक्ष पद की जिम्मेदारी
0 सटीक निशाने पर लगा है दीपक बैज का रामबाण 
(अर्जुन झा)जगदलपुर। भाजपा को जहां व्यापारियों और सवर्णों की पार्टी कहा जाता है, वहीं कांग्रेस पर ब्राम्हण एवं सवर्ण विरोधी होने का तमगा लगा हुआ है। अब दोनों दल अपना नजरिया बदलते नजर आ रहे हैं। दोनों ही दलों ने अपने बस्तर जिला अध्यक्ष की जिम्मेदारी ब्राम्हण नेताओं की सौंप दी है। इसके पीछे कांग्रेस- भाजपा की मंशा क्या है, उसे उनके नेता ही बेहतर जानते होंगे, मगर कांग्रेस का फैसला जरूर चर्चा में है।
बस्तर जिला ग्रामीण कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष का दायित्व प्रेमशंकर शुक्ला को सौंपा गया है। वहीं इसके पहले से ही भाजपा ने ब्राम्हण कार्ड खेल दिया था। आदिवासी नेता रुपसिंह मंडावी का कार्यकाल पूरा होने के बाद भाजपा ने उनकी जगह वेदप्रकाश पाण्डेय की ताजपोशी कर दी है। ये दोनों ब्राम्हण नेता ग्राम्य अंचल से हैं। प्रेमशंकर शुक्ला को ग्रामीण जिला कांग्रेस कमेटी का अध्यक्ष बनाए जाने पर प्रतिक्रिया भी सामने आई है। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता उमाशंकर शुक्ल ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्र से सामान्य वर्ग को प्रतिनिधित्व देना अच्छी बात है। विशेष रूप से ब्राह्मण समाज को महत्व देने से यह वर्ग उत्साहित होगा। कांग्रेस समृद्ध परंपरा का पालन करने वाली पार्टी है, जहां हर धर्म और जाती के लोगो को महत्व दिया जाता है। प्रेम शंकर शुक्ला की नियुक्ति से निकाय और पंचायत चुनाव में ग्रामीण क्षेत्रों में एकजुट होकर काम करने की प्रवृत्ति को बल मिलेगा। शहर जिला कांग्रेस अध्यक्ष सुशील मौर्य ने भी खुशी व्यक्त करते हुए कहा कि बहुत दिनों से पद खाली था। योग्य और अनुभवी नेता को स्थान दिए जाने पर मैं उसका स्वागत करता हूं। प्रदेश अध्यक्ष दीपक बैज के दिशा निर्देश पर अब दोनों इकाईयां मिलकर काम करेंगी। हमारा पहला लक्ष्य निकाय और पंचायत चुनाव में कांग्रेस पार्टी को बस्तर जिला में शत प्रतिशत विजय प्राप्त कराना है। उल्लेखनीय है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज के इस निर्णय से कार्यकर्ताओं में उत्साह की नई लहर पैदा हो गई है। बीजेपी से सियासी जंग लड़ने और कांग्रेस को एकजुट करने के लिए पीसीसी चीफ दीपक बैज ने ब्राम्हण कार्ड खेलकर राम बाण चला दिया है। दीपक बैज के इस प्रयोग के बाद कांग्रेस से छिटक चुके सवर्ण मतदाताओं की वापसी का मार्ग प्रशस्त होगा, ऎसी उम्मीद की जा सकती है। निश्चित ही स्थानीय स्तर के चुनावों में कांग्रेस को इसका लाभ मिलेगा। दीपक बैज के इस फैसले को सवर्ण तबके के लोग कांग्रेस के लिए संजीवनी निरुपित कर रहे हैं।

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