बस्तर संभाग में हर दिन कामयाबियां कदम चूम रही हैं पुलिस और सुरक्षा बलों के

0  गिरफ्तारी, एनकाउंटर, सरेंडर और हथियार भंडारों पर कब्जे का दौर जारी
0  नक्सलियों के विस्फोटक भंडार में मिला जखीरा
(अर्जुन झा) जगदलपुर। बस्तर संभाग में पुलिस और सुरक्षा बलों के अच्छे दिन आ गए हैं, हर दिन कामयाबियां उनके कदम चूम रही हैं। नक्सलियों की गिरफ्तारी, आत्मसमर्पण, एनकाउंटर और उनके हथियार भंडारों पर पुलिस के कब्जे का सिलसिला सा चल पड़ा है। इस उपलब्धि से सरकार भी जोश में दिखाई दे रही है।
बस्तर संभाग के सुकमा, दंतेवाड़ा, बीजापुर, नारायणपुर, कांकेर आदि जिलों में पुलिस और सुरक्षा बलों द्वारा चलाए जा रहे एंटी नक्सल ऑपरेशन और राज्य सरकार की छत्तीसगढ़ नक्सलवाद उन्मूलन नीति के बड़े ही सकारात्मक परिणाम लगातार देखने को मिल रहे हैं। हर जिले की पुलिस भटके नक्सलियों को समाज की मुख्यधारा में वापस लाने के लिए के लिए अलग अलग नाम से अभियान चला रही है। सुकमा जिले में पुलिस पूना नर्कोम अभियान चला रही है। पूना नर्कोम सुकमा की क्षेत्रीय बोली के शब्द हैं, जिसका अर्थ है( नई सुबह, नई शुरुआत। पूना नर्कोम अभियान सुकमा जिले में सैकड़ों नक्सलियों के जीवन में नई सुबह की नई शुरआत करा चुकी है। इस अभियान के बूते ही कुछ दिन पहले सुकमा जिले बड़े पैमाने पर नक्सलियों ने समर्पण किया था। कल फिर तीन नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया। वहीं दंतेवाड़ा जिले में लोन वर्राटू यानि वापस आइए अभियान चलाया जा रहा है। इस जिले में अब तक लगभग 825 नक्सली आत्मसर्पण कर चुके हैं। इसी तरह बीजापुर और नारायणपुर जिलों की पुलिस के अभियान के अपने अलग नाम हैं, लेकिन उद्देश्य एक ही है – नक्सलियों और उनके झांसे में आकर भटके ग्रामीणों को वापस समाज की मुख्यधारा से जोड़ना ही है। यह अभियान हर जिले में कारगर साबित हो रहा है। वहीं दूसरी ओर एंटी नक्सल ऑपरेशन में पुलिस और सुरक्षा बल नक्सलियों पर इस कदर भारी पड़ रहे हैं कि नक्सली संगठनों की कमर टूटने लगी है। संभाग में अब तक सैकड़ों नक्सली हलाक किए जा चुके हैं। चार दिन पहले बीजापुर जिले में एक दर्जन नक्सली मारे गए थे। दंतेवाड़ा और सुकमा जिलों में भी पचासों नक्सली मारे गए हैं। पुलिस और सुरक्षा बलों को इस साल की सबसे बड़ी सफलता कांकेर जिले में मिली थी। कांकेर जिले के हापाटोला की मुठभेड़ में 29 नक्सली मारे गए थे। इसके अलावा पुलिस और सुरक्षा बल नक्सलियों के हथियार और विस्फोटक भंडारों का भी लगातार भंडाफोड़ कर बड़े पैमाने पर असलहे और गोला बारूद बरामद कर रहे हैं।

मिला विस्फोटक भंडार

सुकमा जिले के दुलेड़, बोट्टेतोंग, साकलेर इलाके में जवानों ने बड़ा आपरेशन चलाया गया। वहां नक्सलियों के बड़े लीडर के मौजूद होने की सूचना पर निकले जवान जब मौके पर पहुंचे तो नक्सली भाग गए। आसपास की सर्चिंग करने पर भारी मात्रा में विस्फोटक सामग्री बरामद की गई। एएसपी आईपीएस निखिल राखेचा ने बताया कि वहां नक्सलियों का कैंप था लेकिन जवानों को देखते ही नक्सली भाग गए। सोमवार की सुबह अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक आईपीएस निखिल राखेचा के नेतृत्व में डीआरजी, कोबरा बटालियन 208, 204 व 206 के जवान अलग- अगल कैंपों से निकले। उन्हे सूचना मिली थी कि नक्सलियों की मौजूदगी बोट्टेतोंग व दुलेड़ इलाके में है। एएसपी निखिल राखेचा ने बताया कि जैसे ही जवान चिन्नावेली कोंडा इलाके में पहुंचे वैसे ही नक्सलियों के पास सूचना पहुंच गई और नक्सली वहां से भाग गए। आसपास सर्चिग की गई तो नक्सलियों द्वारा डंप किए गए विस्फोटक सामग्री बरामद हुई। जिसमें एचई 36 नग, ग्रनेड 1 नग, डेटोनेटर 1 नग, बारूद, बीजीएल पाईप, बीजीएल काट्रिज, रेडियो वायरलेस सेट, रेडियो वायरलेस एंटिना, फोन, एयर रायफल पैलेट समेत भारी मात्रा में विस्फोटक सामग्री बरामद कर जवान वापस सुरक्षित कैंप लौट आए।

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