रायपुर। प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि देश मे कोरोना काल में न सिर्फ हजारों लोग काल के गाल में समा गए, बल्कि लाखों लोगोंं की रोजी रोटी भी छीन गई थी।ऐसे में समय मे मुख्यमंत्री भूपेश बघेल जी के सरकार के द्वारा राज्य में रोजगार उपलब्ध कराने किए गए योजनाबद्ध सफल उपायो का नतीजा है। छत्तीसगढ़ रोजगार देने में राज्यों की सूची में तीसरे नम्बर पर है। सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकॉनॉमी संगठन द्वारा जारी किये गये बेरोजगारी के नवीनतम आंकड़े छत्तीसगढ़ सरकार की रोजगार स्वरोजगार और सरकारी नोकरी के जरिये रोजगार देने की सफलता की गवाही है। छत्तीसगढ़ 1.7 प्रतिशत के साथ देश में सबसे कम बेरोजगारी दर वाले राज्यों में तीसरे क्रम पर है। राज्य सरकार के नीतिगत फैसले और बेहतर कार्यप्रबंधन से लगातार युवाओं को रोजगार के अवसर उपलब्ध हो रहे हैं। जिससे राज्य की बेरोजगारी दर में लगातार गिरावट आ रही है। फरवरी 2022 की स्थिति में सीएमआईई द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार देश में सबसे कम बेरोजगारी दर ओडिशा में एक प्रतिशत है। वहीं छत्तीसगढ़ 1.7 प्रतिशत के साथ देश में सबसे कम बेरोजगारी दर वाले राज्यों में तीसरे क्रम पर है। जबकि सर्वाधिक बेरोजगारी दर राजस्थान में 32.3 और हरियाणा में 31 प्रतिशत है। वर्तमान में देश में बेरोजगारी दर 7.4 प्रतिशत है। शहरी बेरोजगारी दर 8.1 प्रतिशत और ग्रामीण बेरोजगारी 7.2 प्रतिशत है।
प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल सरकार के द्वारा गांवों के आर्थिक सशक्तिकरण के लिए सुराजी गांव योजना, नरवा-गरवा-घुरवा-बारी कार्यक्रम, गोधन न्याय योजना, राजीव गांधी किसान न्याय योजना, राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना, रूरल इंडस्ट्रीयल पार्कों की स्थापना, लघु वनोपजों के संग्रहण एवं वैल्यू एडीशन, उद्यमिता विकास जैसी योजनाओं और कार्यक्रमों का क्रियान्वयन किया जा रहा है। प्रदेश सरकार के द्वारा चलाई जा रही इन योजनाओं से ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार के नये-नये अवसर सृजित हो रहे हैं। इन योजनाओं से राज्य के विकास को गति मिल रही है, जिससे प्रदेश में बेरोजगारी दर में लगातार गिरावट आ रही है। कोरोना की पहली और दूसरी लहर के दौरान भी देशव्यापी आर्थिक मंदी से छत्तीसगढ़ की अर्थव्यवस्था अछूती रही। तब भी छत्तीसगढ़ में बेरोजगारी दर पूरी तरह नियंत्रित रही।
प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि मुख्यमंत्री भूपेश सरकार लगातार हर क्षेत्र में विकास के कार्य कर रहें हैं, जिसकी वजह से बेरोजगारी दरों में कमी आई हैं. प्रदेश में समावेशी विकास का लक्ष्य निर्धारित करते हुए तीन साल पहले महात्मा गांधी के ग्राम स्वराज्य की परिकल्पना के अनुरूप नया मॉडल अपनाया था जिससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था मजबूत होने के साथ रोजगार के नए अवसर सृजित हो रहे। प्रदेश में बेरोजगारी दर काफी कम है, रोजगार सृजन करने के लिए गठित कमेटी पांच साल में 12 से 15 लाख युवाओं को रोजगार देने में कारगर साबित होगी।