रायपुर। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विज़न “सशक्त भारत” को साकार करने की दिशा में एक और कदम उठाते हुए, कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) और सीएससी ई-गवर्नेंस सर्विसेज इंडिया लिमिटेड ने सामाजिक सुरक्षा योजनाओं को अंतिम छोर तक पहुंचाने के लिए एक रणनीतिक साझेदारी की है। नई दिल्ली के कॉन्स्टीट्यूशन क्लब में आयोजित एक विशेष समारोह में इस उद्देश्य के लिए समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए गए।
साझेदारी का उद्देश्य:
यह साझेदारी केंद्र सरकार की विभिन्न सामाजिक सुरक्षा योजनाओं को व्यापारियों और आम जनता तक प्रभावी तरीके से पहुंचाने की दिशा में काम करेगी। इन योजनाओं में मुख्य रूप से राष्ट्रीय पेंशन योजना (एनपीएस), प्रधानमंत्री श्रम योगी मान-धन योजना, अटल पेंशन योजना, प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना, प्रधानमंत्री मुद्रा योजना, और प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना जैसी योजनाएं शामिल हैं।
व्यापारियों और नागरिकों को लाभ:
कैट के राष्ट्रीय वरिष्ठ उपाध्यक्ष अमर पारवानी ने बताया कि इस पहल का मुख्य उद्देश्य छोटे व्यापारियों और नागरिकों को इन योजनाओं के तहत पंजीकरण में सहायता प्रदान करना है। सीएससी के डिजिटल नेटवर्क और कैट के 9 करोड़ व्यापारियों के व्यापक नेटवर्क की मदद से, इन योजनाओं को देश के सुदूर क्षेत्रों तक पहुंचाया जाएगा।
शिविरों का आयोजन:
सीएससी और कैट मिलकर बड़े पैमाने पर शिविरों का आयोजन करेंगे, ताकि लाभार्थियों की भागीदारी बढ़ाई जा सके। सीएससी एसपीवी, जो डिजिटल इंडिया मिशन का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, अपने 6 लाख से अधिक सेवा केंद्रों के माध्यम से यह कार्य करेगा।
नेताओं की प्रतिक्रियाएं:
कैट के राष्ट्रीय महामंत्री और सांसद प्रवीन खंडेलवाल ने कहा, “यह समझौता भारत के छोटे व्यापारियों को सशक्त बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। जागरूकता की कमी के कारण व्यापारी अक्सर सरकारी योजनाओं से वंचित रह जाते हैं। यह साझेदारी उन्हें वित्तीय सुरक्षा प्रदान करने में मदद करेगी।”
कैट के राष्ट्रीय अध्यक्ष बी.सी. भरतिया ने इसे एक “आत्मनिर्भर भारत” की दिशा में मजबूत कदम बताते हुए कहा कि यह साझेदारी वित्तीय समावेशन और सामाजिक सुरक्षा को बढ़ावा देगी।
सीएससी की भूमिका:
सीएससी ई-गवर्नेंस के सीईओ संजय राकेश ने कहा, “सीएससी का उद्देश्य स्थानीय समुदायों को सशक्त बनाकर उनके जीवन में सकारात्मक बदलाव लाना है। यह समझौता सामाजिक सशक्तिकरण के लिए हमारी प्रतिबद्धता को और मजबूत करेगा।”
उत्साहजनक भागीदारी:
इस कार्यक्रम में सीएससी और कैट के वरिष्ठ अधिकारियों ने भाग लिया। यह साझेदारी न केवल व्यापारियों के लिए बल्कि आम नागरिकों के लिए भी एक महत्वपूर्ण बदलाव लाने का वादा करती है, जिससे सामाजिक और आर्थिक समावेशन को बढ़ावा मिलेगा।