मोदी निर्मित महंगाई से जनता का बुरा हाल, खाद्य तेल, दाल, सब्जियों की कीमतें आसमान छू रही हैं – सुरेंद्र वर्मा

0 लगातार रुपए का अवमूल्यन हो रहा है, खाद्य मुद्रास्फीति नियंत्रण में सरकार पूरी तरह नाकाम

रायपुर। प्रदेश कांग्रेस कमेटी के वरिष्ठ प्रवक्ता सुरेंद्र वर्मा ने कहा है कि जन विरोधी मोदी सरकार ने इस त्योहारी सीजन में खाद्य तेलों के आयात शुल्क में 22 प्रतिशत की भारी भरकम वृद्धि की, जिसके चलते ही बाजार में सभी तरह के खाद्य तेलों के दाम लगभग डेढ़ गुना बढ़ गए। क्रूड पॉम ऑयल, सोयाबीन और सूरजमुखी तेल पर इंपोर्ट ड्यूटी 5.5 के स्तर से बढ़कर 27.5 प्रतिशत कर दिया गया है, अर्थात सीधे तौर पर 22 फ़ीसदी की बढ़ोतरी मोदी सरकार के मुनाफाखोरी का प्रमाण है।

प्रदेश कांग्रेस कमेटी के वरिष्ठ प्रवक्ता सुरेंद्र वर्मा ने कहा है कि मोदी राज में लगातार रुपए का अवमूल्यन हो रहा है। खाद्य मुद्रास्फीति नियंत्रित करने में यह सरकार पूरी तरह नाकाम हो चुकी है, यही कारण है कि तमाम खाद्य पदार्थों की कीमतों में इसका असर साफ दिख रहा है। दाल की कीमते दोगुनी हो गई है, लहसुन 400 किलो, आलू, प्याज, टमाटर के दाम आसमान छू रहे हैं। एक तरफ बढ़ती बेरोजगारी, घटते इनकम से लोग परेशान हैं वही दैनिक उपभोग की वस्तुओं की बढ़ती कीमतों में घर का बजट बिगाड़ दिया है।

प्रदेश कांग्रेस कमेटी के वरिष्ठ प्रवक्ता सुरेंद्र वर्मा ने कहा है कि केंद्र सरकार की गलत आर्थिक नीतियों के चलते ही महंगाई बेलगाम हो चुकी हैं। 1 डॉलर की कीमत 84 रुपये 48 पैसे तक पहुंच गया है। विगत 10 वर्षों में क्रूड ऑयल के दाम अंतरराष्ट्रीय बाजार में लगभग आधा है, फिर भी कीमतों में कटौती का लाभ आम जनता को नहीं मिल रहा है। 2014 की तुलना में आधी कीमत पर क्रूड ऑयल खरीद कर केंद्र की मोदी सरकार आम जनता से डीजल, पेट्रोल का डेढ़ गुना दाम वसूल रही है। रसोई गैस की कीमतें तीन गुना अधिक वसूली जा रही है। दूध, दही, पनीर, आटा, मैदा, सूजी, दलहन तिलहन, कपड़े जैसे दैनिक उपभोग की तमाम वस्तुओं को जीएसटी के दायरे में लाकर महंगी कर दी गई है, दवाओं और अस्पतालों तक को नहीं छोड़ा। भारतीय जनता पार्टी और केंद्र की मोदी सरकार जनता की जेब में खुलेआम डकैती कर रहे हैं।

 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *