स्वास्थ्य कर्मियों से जबरिया कराया जा रहा है डाटा एंट्री का कार्य, कर्मचारियों में आक्रोश

0 बीएमओ के फरमान से स्वास्थ्य सेवाओं पर असर 
बकावंड। ग्रामीण स्वास्थ्य संयोजक कर्मचारियों ने कलेक्टर को ज्ञापन सौंप कर अपने साथ हो रहे अन्याय को रोकने की मांग की है। बताया गया है कि खंड चिकित्सा अधिकारी दरभा एवं खंड चिकित्सा अधिकारी बकावंड द्वारा कलेक्टर के मौखिक आदेश का हवाला देते एक आदेश निकाला है, जिसमें डेटा इंट्री का कार्य द्वितीय एएनएम एवं पीएडीए को कराने को कहा गया है। स्वास्थ्य संयोजक कर्मचारियों ने कहा है कि द्वितीय एएनएम एवं पीएडीए से मूल कार्य राष्ट्रीय स्वास्थ्य कार्यक्रम सहित क्लीनिकल व नर्सिंग कार्य के अतिरिक्त ऑनलाईन डाटा एंट्री का कार्य भी लिया जा रहा है। कर्मचारियों का कहना है कि वे ऑनलाईन डाटा एंट्री हेतु प्रशिक्षित नहीं हैं। गैर क्लीनिकल, नर्सिंग कार्य करने में ही समर्थ हैं।
ग्रामीण स्वास्थ्य संयोजक संवर्ग के भर्ती नियम एवं नियुक्ति अनुसार ऑनलाईन डाटा एंट्री हेतु आवश्यक अर्हता एवं योग्यता तकनीकी कम्प्यूटर ज्ञान शामिल नहीं है। ऑनलाईन एंट्री विशेष प्रकार के ऐप एवं वेबसाईट पर करवाई जाती है। जिसके लिये तकनीकी कम्प्यूटर प्रशिक्षण आवश्यक है। ये कर्मचारी इसके लिए प्रशिक्षित नहीं हैं। ऑनलाईन डाटा एंट्री कार्य करने से मूल कार्य टीकाकरण, प्रसव, स्वास्थ्य सेवाएं एवं राष्ट्रीय स्वास्थ्य कार्यक्रमों की उपलब्धि प्रभावित हो रही है। ऑनलाईन डाटा एंट्री हेतु एनएचएम द्वारा पूर्व में पीएडीए, जेएसए, डाटा एंट्री ऑपरेटर की नियुक्ति सेक्टर स्तर पर की गई है एवं पूर्व में समस्त डाटा एंट्री इनके द्वारा की जाती थी। वर्तमान में वे सिर्फ प्राथमिक स्वास्थ्य की रिपोटिंग कार्य ही वे करते हैं। ग्रामीण स्वास्थ्य संयोजक कर्मचारियों ने कहा शासकीय कर्मचारियों की अपेक्षा संविदा कर्मचारियों का वेतन 4 गुना कम है फिर में हम लोगों से ये कार्य बराबर करा रहें है। कलेक्टर को ज्ञापन देने के दौरान सुनीता, ममता, सावित्री एवं अन्य द्वितीय एएनएम और पीएडीए उपस्थित रहे।

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