0 राष्ट्रीय कला मंच बस्तर ने शरद रास गरबा उत्सव का किया आयोजन
जगदलपुर। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद बस्तर के कार्यकर्ताओं ने राष्ट्रीय कला मंच के तत्वावधान में शरद रास 2.0 गरबा उत्सव का आयोजन लागू वाटिका में किया। अभाविप प्रदेश सहमंत्री एवं बस्तर जिला संयोजक शैलेष ध्रुव ने बताया कि शरद पूर्णिमा को ही रास पूर्णिमा भी कहते हैं। हिंदू ग्रंथों के अनुसार शरद पूर्णिमा के दिन ही भगवान कृष्ण ने ब्रज में गोपियों के साथ महारास लीला रचाई थी। रासलीला में 16 हजार 108 गोपियों ने हिस्सा लिया था। भगवान कृष्ण की रास लीला में हिस्सा लेने के लिए देवता भी धरती पर गोपियों का रूप धारण करके आए थे।मान्यता यह भी है कि इस दिन लोग रात को जागकर मां लक्ष्मी की पूजा करते हैं। जो इस रात जागता है, मां लक्ष्मी उसके घर समृद्धि का आशीर्वाद देती हैं। इस दिन को शरद पूर्णिमा भी कहते हैं। मान्यता है कि इसी दिन मां लक्ष्मी का जन्म हुआ था।नगर मंत्री आश्विन पिल्ले ने कहा कि शरद रास गरबा उत्सव के इस कार्यक्रम में एलिस सोनवानी और वेविका चौहान मिस गरबा चुनी गईं। राष्ट्रीय कला मंच विद्यार्थी परिषद की एक महत्वपूर्ण गतिविधि है। इस गतिविधि के अंतर्गत सांस्कृतिक कार्यक्रम, भाषण प्रतियोगिता क्विज प्रतियोगिता, रंगोली,मेहंदी, डिबेट प्रतियोगिता, कवि सम्मेलन, नृत्य प्रतियोगिता, गीत प्रतियोगिता इत्यादि विद्यार्थियों हेतु आयोजित की जाती है। विद्यार्थी परिषद राष्ट्रीय कला मंच के माध्यम से समय-समय पर विद्यार्थियों की प्रतिभा को निखार हेतु कार्यक्रमों का आयोजन करते रहते हैं। इस दौरान प्रांत एसएफएस सह संयोजक ईश्वर आचार्य, अवनीश, ऋतिक, गौरव, प्रशांत, नुशांत, अजेंद्र, जय पांडे, मनीष, टेमन, पुनव, गोविंद, करण बघेल, करण शर्मा, रघुराज, निखिल सहित अभाविप के अन्य कार्यकर्ता उपस्थित रहे।