0 20 क्विंटल प्रति एकड़ की खरीदी से राज्य की अर्थव्यवस्था में आमूलचूल परिवर्तन आयेगा
0 भूपेश बघेल ने साबित किया वे सही मायने में किसान हितैषी
रायपुर। प्रति एकड़ 20 क्विंटल धान की खरीदी करने का मुख्यमंत्री का निर्णय ऐतिहासिक है। प्रदेश कांग्रेस संचार विभाग के अध्यक्ष सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि इस निर्णय से छत्तीसगढ़ का किसान देश का सबसे समृद्ध किसान होगा। आने वाले समय में छत्तीसगढ़ में किसान प्रति एकड़ 60,000 रू. का धान बेचेगा, इससे छत्तीसगढ़ की अर्थव्यवस्था में आमूलचूल परिवर्तन होगा। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने साबित कर दिया कि सही मायने में छत्तीसगढ़ सरकार किसान हितैषी सरकार है। एक तरफ देश भर में खेती किसानी घाटे का सौदा हो गयी है। छत्तीसगढ़ में खेती करके किसान समृद्ध और खुशहाल हो रहे है।
प्रदेश कांग्रेस संचार विभाग के अध्यक्ष सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि मुख्यमंत्री किसानों की समस्या को गहराई से जानते और समझते हैं। इसलिए वे किसानों के भलाई के लिए अनेक कल्याणकारी योजना संचालित कर रहे है। सरकार गठन के साथ ही किसानों की कर्ज माफी कर बड़ी राहत दी गई। तत्पश्चात समर्थन मूल्य पर धान खरीदकर कृषकों को उनकी उपज का वास्तविक मूल्य दिलाया। साथ ही कोदो, कुटकी, रागी जैसे फसलों को भी समर्थन मूल्य पर खरीदी कर किसानों को और अधिक लाभ पहुँचा रहे है। 20 क्विन्टल प्रति एकड़ धान खरीदी होने से अब सभी किसानों को अधिक लाभ मिलेगा।
प्रदेश कांग्रेस संचार विभाग के अध्यक्ष सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि राज्य की अर्थव्यवस्था की रीढ़ किसान होते है। इस हेतु प्रदेश सरकार किसानों के हितों को लेकर गंभीरता से कार्य कर रही है। जनहितकारी योजनाओं से किसानों को आर्थिक रूप से मजबूत बना रही है। समर्थन मूल्य पर धान खरीदी की सीमा बढ़ाने से छोटे-बड़े सभी किसानों को लाभ होगा। किसानों के आय में वृद्धि होगी, उनका आर्थिक व सामाजिक विकास होगा।
प्रदेश कांग्रेस संचार विभाग के अध्यक्ष सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि भाजपा की कथनी, करनी का अंतर हमेशा से अलग रही। छत्तीसगढ़ में सरकार में रहते भाजपा ने वायदा किया कि धान का 2100 रूपये समर्थन मूल्य देंगे, नहीं दिया। 5 साल तक 300 रूपये बोनस देंगे, 5 साल नही दिया। धान का एक-एक दाना खरीदेंगे, नहीं खरीदा। 10 क्विंटल खरीद रहे थे कांग्रेस के विरोध के बाद बढ़ाया। 2014 के चुनाव के पहले मोदी ने वायदा किया था स्वामीनाथन कमेटी की सिफारिशों लागू करेंगे लागत मूल्य का डेढ़ गूना समर्थन मूल्य देंगे, नहीं दिया। 2022 तक किसानों की आय दुगुनी करेंगे। 2022 बीत गया किसानों की आय बढ़ने के बजाये घट गयी।