0 बैंक अधिकारी से कराई किसान के बैंक खाते की जांच
रायपुर। मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने भेंट-मुलाकात के दौरान आज पामगढ़ विधानसभा के ग्राम केरा में आमजनता से रूबरू चर्चा कर राज्य शासन की कल्याणकारी योजनाओं के बारे में सीधे फीडबैक लिया। ग्राम केरा के जवाहरलाल आदित्य ने मुख्यमंत्री को बताया कि वे 65 डिसमिल में खेती करते हैं। मुख्यमंत्री ने जब उनसे पूछा कि आपको राजीव गाँधी किसान न्याय योजना की राशि मिली या नहीं ? बैंक में जाकर खाता चेक किए या नहीं? तो जवाहरलाल ने बताया कि वह 15 दिन पहले ही बैंक गया था ,पैसा नहीं आया है। मुख्यमंत्री ने जवाहरलाल को बताया कि इस बार दीपावली का त्यौहार मनाने न्याय योजना की राशि एक नवम्बर से पहले 17 अक्टूबर को ही सबके खाते में दे दी गई है। यह दो दिन पहले की बात है। अब जाकर खाते की जांच करियेगा। किसान ने बैंक के अधिकारियों द्वारा ठीक से व्यवहार नहीं किए जाने की बात भी कही। मुख्यमंत्री ने सहकारी बैंक के अधिकारी को तलब किया और जब किसान के खाते की जाँच कराई तो उनके खाते में राजीव गाँधी न्याय योजना से पैसा आना पाया गया। मुख्यमंत्री ने उन्हें बैंक जाकर पैसा निकालने की सलाह दी और बैंक अधिकारी को मंच पर बुलाकर कहा कि आप किसान को बुलाकर चाय जरूर पिलाना साथ ही उन्होंने किसान से कहा कि बैंक अधिकारी को पहचान लीजिए।
ग्राम बर्रा के किसान दिलेराम साहू ने मुख्यमंत्री को बताया कि उन्होंने 250 किवंटल धान बेचा है। उनका 15 एकड़ का खेत है। धान बेचने के अलावा राजीव गांधी किसान न्याय योजना से मिली राशि से घर निर्माण और छट्ठी का आयोजन सहित रामायण कथा भी आयोजित की। मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों के लिए बनाई गई योजना से उनको बेहतर लाभ मिल रहा है। इससे उनके चेहरे पर खुशी है।
अब खेत या आभूषण गिरवी रखने की जरूरत नहीं पड़ती-कृष्णा चन्द्रा
मुख्यमंत्री श्री बघेल ने जब कार्यक्रम में राशनकार्ड नहीं बना पाने वाले हितग्राही को खड़े होने कहा तो ग्राम पिरीद के किसान कृष्णा चन्द्रा ने अपना हाथ उठाया और मुख्यमंत्री को बताया कि हम लोगों को रबी सीजन में नहर का पानी सिचाई के लिए चाहिए। मुख्यमंत्री ने उन्हें अन्य फसल के लिए प्रोत्साहित किया। किसान ने बताया कि उसका 7 एकड़ खेत है और राजीव गाँधी किसान न्याय योजना से 15 हजार 500 रूपए की राशि मिली है। 30 हजार रुपये का गोबर भी बेचा है। किसान ने मुख्यमंत्री को बताया कि आपके द्वारा शुरू की गई योजना का बेहतर लाभ मिल रहा है। उन्होंने खेती की जमीन और योजनाओं का लाभ की वजह से अपना राशनकार्ड नहीं बनाने की बात कही तो मुख्यमंत्री ने उन्हें बताया कि सरकार सभी का राशनकार्ड बना रही है। एपीएल को 10 रुपये किलो में चावल दिया जाता है। किसान कृष्णा चन्द्रा ने अपनी शादी एक साल पहले ही होने की बात बताई तो मुख्यमंत्री ने उनसे कहा कि पहले बहू के मायके से नाम कटवाने और अपने गाँव में नाम जोड़ने के लिए कहा जिससे कि राशनकार्ड में एक अन्य सदस्य को अतिरिक्त चावल मिल सके।
ग्रामीण वृंदा बाई चन्द्रा ने मुख्यमंत्री को राजीवगांधी भूमिहीन मजदूर न्याय योजना से राशि मिलने की जानकारी दी। शुपालक विनोद कुमार शुक्ला ने मुख्यमंत्री को गोधन न्याय योजना से किसानों को लाभ होने की बात कही। उन्होंने बताया कि उनके पास 8 गाय है और 32 हजार किलो गोबर बेचकर 64 हजार प्राप्त किए।
महिला समूह ने वर्मी कम्पोस्ट से कमाए 2.75 लाख रूपए
ग्राम पुटपुरा की सुलोचनी बाई ने मुख्यमंत्री को बताया कि उनकी समूह ने गौठान में 4200 बोरी वर्मी कंपोस्ट बनाया था जिसे बेचकर 2 लाख 75 हजार लाभ कमाई। वे मुर्गीपालन, बकरी पालन और मशरूम उत्पादन जैसे कार्य से भी जुड़ी है। इससे उनका घर का खर्च भी आसानी से निकल जाता है।
वृक्षारोपण की सफलता पर पचेड़ा के सरपंच को मिली शाबासी
मुख्यमंत्री श्री बघेल ने जब रूरल इंडस्ट्रियल पार्क के विषय में जानकारी दी तो ग्राम पचेड़ा के सरपंच कृष्ण कुमार कश्यप ने मुख्यमंत्री को बताया कि उनके गांव के गौठान में रीपा के माध्यम से रूरल इंडस्ट्रियल पार्क की स्थापना की जा रही है। उन्होंने इस योजना से ग्रामीण युवाओं को रोजगार के अवसर मिलने और महिलाओं को मशरूम, मछली पालन, मुर्गी, बकरी पालन से आगे बढ़ने की जानकारी दी। सरपंच ने मुख्यमंत्री को बताया कि गौठान में 10 डिसमिल जमीन पर गेंदे की खेती होने से सप्ताह में 1 हजार रुपये से अधिक का लाभ भी मिल जाता है। उन्होंने गौठान में सबसे अधिक पौधे लगाने और जीवित रखने की जानकारी दी तो मुख्यमंत्री ने उनको शाबासी देते हुए प्रशंसा भी की।
स्वामी आत्मानन्द शासकीय उत्कृष्ट अंग्रेजी माध्यम विद्यालय जांजगीर की छात्रा मिष्ठी साहू और छात्र विभोर यादव ने मुख्यमंत्री को फर्राटेदार अंग्रेजी में अपने स्कूल की गतिविधियों के अलावा बेहतर शिक्षा मिलने की जानकारी दी। मुख्यमंत्री ने उनसे छत्तीसगढ़ी में और विद्यार्थियों ने अंग्रेजी में जानकारी दी। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में बेहतर शिक्षा के लिए आने वाले दिनों में लगभग 700 आत्मानन्द विद्यालय संचालित की जाएगी। उन्होंने सप्ताह में एक दिन छत्तीसगढ़ी में क्लास और एक संस्कृत की कक्षा होने की जानकारी देते हुए बताया कि इससे बच्चे अंग्रेजी के साथ अपने भाषा को भी सीख पाएंगे। उन्होंने बच्चों को बधाई देते हुए मन लगाकर पढ़ने और आगे बढ़ने भी कहा।