महंगाई दर कम होने का केंद्र सरकार का दावा झूठा, सच्चाई- हर वस्तु के दाम आसमान पर – सुरेंद्र वर्मा

0 दैनिक उपभोग की वस्तुओं पर जीएसटी लगा कर महंगाई कम होने का दावा, आमजनता के जख्मों पर नमक है

रायपुर। प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता सुरेंद्र वर्मा ने कहा है कि मोदी सरकार दबावपूर्वक आंकड़े जारी कर भले ही दावा करें कि खुदरा महंगाई दर कम हुई है, लेकिन सर्वविदित है कि आमजन के जरूरत की चीजें दिनोंदिन पहुंच से बाहर होती जा रही है। सालभर के भीतर ही दैनिक उपभोग की आवश्यक वस्तुएं डेढ़ गुना महंगी हुई है। कीमत बढ़ने का एक प्रमुख कारण हाल ही में खाद्य पदार्थों पर 5 प्रतिशत जीएसटी लगाना है। आटा, दाल, चावल, तेल, दूध, दही, पनीर जैसे आमजन के दैनिक उपभोग की वस्तुओं पर भी इतिहास में पहली बार, मुनाफाखोर मोदी सरकार जीएसटी वसूल रही है। विगत 33 महीनों से देश में खुदरा महंगाई दर रिजर्व बैंक द्वारा तय मिडिल लिमिट 4 प्रतिशत से अधिक है और पिछले 7 महीने से तय अपर लिमिट 6 प्रतिशत से अधिक है। प्रमुख खाद्य पदार्थों को जीएसटी के दायरे में लाने के बाद खुदरा महंगाई दर कम होने का कुतर्क गढ़ना, महंगाई और लगातार आय में कमी की दोहरी मार से जूझ रही आमजनता के जख्मों पर नमक छिड़कने के समान है।

प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता सुरेंद्र वर्मा ने कहा है कि महंगाई में पेट्रोलियम पदार्थों की कीमतों का योगदान 2014 तक 2 से 3 प्रतिशत होता था, जो आज बढ़कर लगभग 15 प्रतिशत हो गया है, उसके पीछे मोदी सरकार की मुनाफाखोरी की भूख ही जिम्मेदार है। 2014 की तुलना में डीजल पर प्रति लीटर सेंट्रल एक्साइज लगभग आठ गुना अधिक है। 2014 तक 400 रुपए के गैस की सिलेंडर पर सवा सौ से 160 रुपए सब्सिडी भी मिलती थी, अब सिलेंडर 1100 का और सब्सिडी अघोषित रूप से खत्म। आवासीय किराए पर भी 18 प्रतिशत जीएसटी वसूलने का प्रावधान किया गया है यदि जीएसटी के अंतर्गत पंजीकृत व्यक्ति, कंपनी या संस्थान के द्वारा घर किराए पर लिया गया हो। यही नहीं प्रतिदिन 1000 रुपए से कम किराए के होटल के कमरों पर भी अब 12 प्रतिशत जीएसटी वसूल रही है मोदी सरकार। अस्पताल के कमरे के किराए से लेकर कफन के कपड़े तक, पूजन सामग्री दूध दही से लेकर दाल, चावल, आटा सभी पर निर्ममता पूर्वक कर वसूल रही है मोदी सरकार।

 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *